रायगढ़

राज्योत्सव-2025 : लोक संस्कृति और आधुनिक संगीत का संगम ; लोक कलाकारों और विद्यार्थियों की शानदार प्रस्तुतियों ने मोहा मन…

राकेश–निशा शर्मा की ग़ज़लों ने बांधा समां, इंडियन रोलर के रॉक गायन से गूंजा स्टेडियम…

रायगढ़। छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस के रजत जयंती वर्ष के अवसर पर रायगढ़ जिला मुख्यालय स्थित शहीद कर्नल विप्लव त्रिपाठी स्टेडियम में आयोजित तीन दिवसीय जिला स्तरीय राज्योत्सव-2025 का आज रंगारंग समापन हुआ। तीन दिनों तक चले इस सांस्कृतिक महोत्सव ने जिलेवासियों को छत्तीसगढ़ की लोक परंपराओं, गीत-संगीत, नृत्य और कला की समृद्ध विरासत से रूबरू कराया।

विद्यार्थियों की प्रस्तुति में झलकी संस्कृति और संवेदना :

  • समापन दिवस की शुरुआत ओ.पी. जिंदल स्कूल, तराईमाल के विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत छत्तीसगढ़ी लोकनृत्य से हुई। पारंपरिक वेशभूषा और लोक धुनों की ताल पर बच्चों की प्रस्तुति ने पूरे स्टेडियम में उत्सव का रंग घोल दिया।
  • इसके बाद अश्वी शर्मा और कृष्णिका की शास्त्रीय कथक नृत्य प्रस्तुति ने मंच को सौंदर्य और गरिमा से भर दिया।
  • कार्मेल कॉन्वेंट इंग्लिश स्कूल के विद्यार्थियों ने लोकनृत्य की झलकियों से दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया, जबकि सेजेस कोतरा के छात्रों ने नारी सशक्तिकरण पर आधारित नृत्य के माध्यम से समाज को संवेदना और जागरूकता का सशक्त संदेश दिया।
  • साधुराम विद्या मंदिर के बच्चों द्वारा प्रस्तुत असम की पारंपरिक बिहू नृत्य की झलक ने दर्शकों की खूब तालियां बटोरीं और सांस्कृतिक विविधता का सुंदर परिचय दिया।

राकेश–निशा शर्मा एवं ग्रुप की ग़ज़लों ने बांधा समां : रायगढ़ के प्रसिद्ध कलाकार राकेश शर्मा और निशा शर्मा ने अपने समूह के साथ ग़ज़ल और गीतों की ऐसी मनमोहक प्रस्तुति दी कि पूरा परिसर सुरों से सराबोर हो गया। हर पंक्ति, हर तरन्नुम ने दर्शकों के दिलों को छू लिया। तालियों की गड़गड़ाहट और “वाह-वाह” के स्वर देर तक गूंजते रहे।

रायपुर-भिलाई के ‘इंडियन रोलर’ बैंड ने रचा जोश और जादू : कार्यक्रम की अंतिम प्रस्तुति में रायपुर-भिलाई के सुप्रसिद्ध रॉक बैंड ‘इंडियन रोलर’ ने अपनी ऊर्जावान प्रस्तुति से पूरे समारोह को नई ऊँचाई दी। पारंपरिक लोक धुनों को रॉक संगीत और सूफियाना रंगत के साथ मिलाकर उन्होंने ऐसा संगीतमय माहौल रचा कि दर्शक देर रात तक झूमते रहे। ‘इंडियन रोलर’ बैंड अपनी अलग पहचान के लिए जाना जाता है – जो रॉक संगीत में उर्दू शायरी और सूफी भावों का सुंदर संगम प्रस्तुत करता है।

संस्कृति, संगीत और उत्सव का संगम : राज्योत्सव-2025 ने रायगढ़ के लोगों को न केवल मनोरंजन का अवसर दिया बल्कि छत्तीसगढ़ की लोक आत्मा से जुड़ने का भी मौका प्रदान किया। तीन दिनों तक संगीत, नृत्य और संस्कृति के रंगों में डूबे इस उत्सव ने यह साबित कर दिया कि छत्तीसगढ़ की मिट्टी में सुर और संस्कृति की गहराई अब भी वैसी ही जीवंत है – जैसी 25 वर्ष पूर्व राज्य निर्माण के समय थी।

Ambika Sao

सह-संपादक

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Content is protected !!