रायगढ़

बजरमुड़ा पंचायत में कंचन आशुतोष पोर्ते की लहर, ससुर कार्तिक राम पोर्ते की स्वच्छ छवि बनी जीत की मजबूत नींव…

बजरमुड़ा: पंचायत चुनाव नजदीक आते ही बजरमुड़ा पंचायत में सियासी हलचल तेज हो गई है। इस बार का चुनाव कई नए राजनीतिक समीकरणों और रोचक मोड़ों का गवाह बन रहा है। लेकिन पूरे क्षेत्र में जिस नाम की सबसे ज्यादा चर्चा हो रही है, वह है कंचन आशुतोष पोर्ते। जनता के बीच उनकी लोकप्रियता लगातार बढ़ रही है, और वे सबकी एकमात्र पसंद बनती जा रही हैं। उनकी जीत की मजबूत नींव उनके जनसेवा के संकल्प के साथ-साथ उनके ससुर कार्तिक राम पोर्ते की स्वच्छ सामाजिक छवि भी बन रही है।

जनता का अपार समर्थन, कंचन आशुतोष पोर्ते बनीं पहली पसंद : बजरमुड़ा पंचायत के चुनावी परिदृश्य पर नजर डालें तो यह स्पष्ट है कि कंचन आशुतोष पोर्ते को हर वर्ग से जबरदस्त समर्थन मिल रहा है। युवाओं से लेकर बुजुर्गों तक, और खासकर महिलाओं के बीच उनकी लोकप्रियता लगातार बढ़ रही है। उनके पक्ष में एक माहौल बन चुका है, जहां जनता केवल वादों पर भरोसा नहीं करना चाहती, बल्कि उन्हें एक ऐसे नेतृत्व की तलाश है जो वास्तव में विकास के लिए समर्पित हो।

कार्तिक राम पोर्ते की स्वच्छ छवि बनी जनाधार का आधार : बजरमुड़ा पंचायत में कार्तिक राम पोर्ते का नाम एक ईमानदार, समाजसेवी और निःस्वार्थ सेवा करने वाले व्यक्ति के रूप में जाना जाता है। वर्षों से उन्होंने समाज के हर वर्ग की सेवा की है और जरूरतमंदों के लिए हमेशा आगे खड़े रहे हैं। उनकी स्वच्छ छवि और सामाजिक पकड़ का सीधा लाभ कंचन आशुतोष पोर्ते को मिलता दिख रहा है। लोग मानते हैं कि जिस परिवार ने हमेशा सेवा को प्राथमिकता दी है, वह पंचायत में भी ईमानदारी और पारदर्शिता की मिसाल कायम करेगा।

विकास और सशक्त नेतृत्व की मिसाल : कंचन आशुतोष पोर्ते ने अपने प्रचार अभियान में स्पष्ट कर दिया है कि उनकी राजनीति सिर्फ वादों पर नहीं, बल्कि जमीन पर बदलाव लाने पर केंद्रित होगी। उनके मुख्य एजेंडे में—

सड़क, पानी, बिजली की समस्या का समाधान
स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में सुधार
महिला सशक्तिकरण और रोजगार के अवसर
युवाओं के लिए बेहतर भविष्य की योजनाएं

ये सभी मुद्दे जनता के दिलों को छू रहे हैं, और लोग उन्हें पंचायत के विकास के लिए सबसे उपयुक्त उम्मीदवार मान रहे हैं।

महिला शक्ति और युवा जोश का जबरदस्त समर्थन : बजरमुड़ा पंचायत में महिलाओं और युवाओं का कंचन आशुतोष पोर्ते को अभूतपूर्व समर्थन मिल रहा है। महिलाओं का कहना है कि उनका नेतृत्व पंचायत में महिलाओं की भागीदारी को और मजबूत करेगा और वे पंचायत स्तर पर नीतियों में सक्रिय भूमिका निभा सकेंगी। वहीं, युवा उनके विजन से प्रभावित हैं और उन्हें एक ऊर्जावान और दूरदर्शी नेतृत्व के रूप में देख रहे हैं।

विरोधी खेमे में बढ़ी बेचैनी : जैसे-जैसे चुनाव की तारीख नजदीक आ रही है, विरोधी खेमे में हलचल तेज हो गई है। कंचन आशुतोष पोर्ते की मजबूत पकड़ ने उनके प्रतिद्वंद्वियों को सोचने पर मजबूर कर दिया है। जनता के समर्थन का यह रुझान अगर ऐसे ही बना रहा, तो उनकी जीत लगभग तय मानी जा रही है।

“जनता के लिए, जनता के साथ” – कंचन आशुतोष पोर्ते : कंचन आशुतोष पोर्ते ने स्पष्ट संदेश दिया है कि वे राजनीति को सेवा का माध्यम मानती हैं और उनका उद्देश्य सिर्फ चुनाव जीतना नहीं, बल्कि जनता के विकास और कल्याण के लिए ठोस कदम उठाना है। उन्होंने कहा, “यह जीत सिर्फ मेरी नहीं, बल्कि पूरे बजरमुड़ा पंचायत की होगी। हम सब मिलकर एक नई और विकसित पंचायत की नींव रखेंगे।”

बजरमुड़ा पंचायत का भविष्य तय करेगी जनता : अब सबकी निगाहें चुनावी नतीजों पर टिकी हैं। लेकिन जनता का रुझान और माहौल यह स्पष्ट कर रहा है कि इस बार बजरमुड़ा पंचायत में परिवर्तन की बयार बह रही है और कंचन आशुतोष पोर्ते की जीत लगभग तय मानी जा रही है।

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Ambika Sao

( सह-संपादक : छत्तीसगढ़)
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