रायगढ़ : वरिष्ठ पत्रकार सत्यजीत घोष पर हुआ जानलेवा हमला; शहर में अब पत्रकार भी महफूज नहीं…
रायगढ़ के सीनियर जर्नलिस्ट और छत्तीसगढ़ नाउ के डायरेक्टर सत्यजीत घोष पर जानलेवा हमला,क्या अब लोकतंत्र के चौथे स्तंभ को भी ढहाने की तैयारी?…
रायगढ़ में जब पत्रकार ही महफूज नहीं है, तो आम जनता कैसे और कितनी सुरक्षित होगी, इस बात का सहज अंदाजा लगाया जा सकता है..यहां की पुलिसिंग पर भी यह एक बड़ा सवाल है !
आज एक पत्रकार के साथ यह घटना हुई है, कल को और इस तरह के वारदात और भी बढ़ सकती है, क्या प्रशासन इसकी जिम्मेदारी लेगी..? दिन-ब-दिन बढ़ते क्राइम को लेकर रायगढ़ पुलिस आखिर क्यों नहीं उठा रही है कड़े कदम?…
रायगढ़ प्रेस क्लब ने इस घटना की कड़ी निंदा की है। इसी संदर्भ में मंगलवार शाम पत्रकारों का एक दल पुलिस अधीक्षक रायगढ़ दिव्यांग पटेल से मिलने पहुंचा और उनसे इस घटना की निष्पक्ष जांच की मांग की और पत्रकार सुरक्षा के लिये कठोर कदम उठाये जाने की भी मांग की। एसपी श्री पटेल ने बताया कि पत्रकार सत्यजीत घोष पर हमला होने के बाद हमने पूरी ऊर्जा झोंक रखी थी। नतीजतन घटना स्थल के आसपास लगे सीसीटीवी फुटेज के आधार पर पुलिस ने फरार दो संदेहियों को धर दबोचा है। जिनसे कड़ी पूछताछ करने पर पता चला कि वे ही आरोपी हैं और आरोपियों के दावे पर यकीन करे तो पुरानी रंजिश के चलते उन्होंने सत्यजीत घोष पर कातिलाना हमला किया। एसपी ने यह भी कहा कि रायगढ़ जैसे शांत शहर में ऐसी घटनाएं नहीं होनी चाहिये इसके लिये पुलिस इस मामले से जुड़े हर उन पहलुओं की भी पूरी निष्पक्षता से जांच करेगी जो उनके संज्ञान में पत्रकारों द्वारा लाया गया है।
खरसिया विधायक उमेश पटेल ने कहा कि कांग्रेस जब छत्तीसगढ़ की बागडोर सम्हाल रही थी तो कम से कम पब्लिक चैन की सांसें लेते हुए जानमाल की सुरक्षा के लिए फिक्रमंद और दहशतजदा नहीं थी, लेकिन भाजपा के सत्ता में आते ही बलौदाबाजार जैसे कांड ने असलियत जाहिर कर दी है कि हालात अब किस तरह के बन रहे हैं। विधायक उमेश पटेल ने सत्यजीत घोष पर हुए जानलेवा हमले की पूरी हकीकत को सामने लाने के लिए पुलिस प्रशासन से निष्पक्ष जांच की मांग करते हुए पत्रकारों के हर सुख-दुख में साथ देने की बात भी कही।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा कि पत्रकार सत्यजीत घोष जो टीवी छत्तीसगढ़ नाऊ के रिपोर्टर के साथ रात के अंधेरे में अज्ञात तत्वों के द्वारा पीछे से उनके सर पर वार कर उन्हें घायल कर दिया गया, जिनका उपचार जिला अस्पताल रायगढ़ में चल रहा है। सत्यजीत घोष अपने पूरे काम निपटाकर रात में अपने घर जाने के लिए घर के पास ही पार्किंग में गाड़ी खड़े कर घर की ओर जा रहे थे तभी अंधेरे का फायदा उठाकर उनके साथ यह घटना को अंजाम दिया गया। कांग्रेस मांग करती है कि अपराधियों की तत्काल गिरफ्तारी होनी चाहिये।
पत्रकारों का कहना है कि पुलिस और पत्रकार के परस्पर सहयोग से ही एक अच्छा वातावरण निर्मित होता है। अगर इसमें किसी भी एक अंग को चोट लगती है तो आहत दोनों पक्ष होता है। फिलहाल बात पत्रकार सत्यजीत घोष की है जिस पर कातिलाना हमला होने के बाद प्रेस बिरादरी में डर का माहौल बना हुआ है।