छत्तीसगढ़

क्रांतिकारी पत्रकार कुमार जितेन्द्र : साहस, संघर्ष और सच्चाई की मिसाल…

रायपुर। पत्रकारिता जगत में साहस और निष्पक्षता के प्रतीक, कुमार जितेन्द्र का जन्मदिन आज विशेष सम्मान और आदर के साथ मनाया जा रहा है। भारत सम्मान न्यूज के प्रधान संपादक के रूप में, उन्होंने पत्रकारिता को सिर्फ एक पेशा नहीं, बल्कि समाज सुधार का माध्यम बनाया है। उनकी निष्पक्ष और निर्भीक रिपोर्टिंग ने कई बार सत्ता और प्रशासन को कठघरे में खड़ा किया है, जिसके चलते उन्हें कई मुश्किलों का सामना भी करना पड़ा।

पत्रकारिता में साहस और निष्पक्षता : कुमार जितेन्द्र की पत्रकारिता का मूलमंत्र है “सत्य के लिए पत्रकारिता”। वे उन मुद्दों को उठाते हैं, जिन्हें मुख्यधारा मीडिया अक्सर नजरअंदाज कर देता है। राजनीतिक घटनाक्रम, सामाजिक असमानता, अपराध और भ्रष्टाचार के खिलाफ उनकी बेबाक रिपोर्टिंग ने उन्हें जनता के बीच लोकप्रिय और सत्ता के लिए एक चुनौती बना दिया है। छत्तीसगढ़ में स्थापित भारत सम्मान न्यूज के माध्यम से वे डिजिटल पत्रकारिता को नई ऊंचाइयों तक ले जा रहे हैं। उनका यूट्यूब चैनल और सोशल मीडिया प्लेटफार्म लाखों लोगों तक सही और निष्पक्ष खबरें पहुंचाने का काम कर रहे हैं।

सत्ता से टकराव और संघर्ष : सत्य की राह कभी आसान नहीं होती, और कुमार जितेन्द्र ने इसे पूरी शिद्दत से महसूस किया है। उनकी निडर पत्रकारिता के कारण उन्हें कई बार प्रशासन की नाराजगी झेलनी पड़ी। 2009, 2018 और 2021 में उन्हें फर्जी मुकदमों और सरकारी दमन का सामना करना पड़ा। 2021 में उनके खिलाफ एक दर्जन से अधिक मामले दर्ज किए गए, जिसके चलते उन्हें लगभग एक साल तक जेल में रहना पड़ा। हालांकि, इन कठिनाइयों ने उनके हौसले को कमजोर नहीं किया, बल्कि उन्होंने और भी मजबूती से सच्चाई और जनता के अधिकारों के लिए आवाज उठाने का संकल्प लिया।

सामाजिक और डिजिटल पत्रकारिता में अग्रणी भूमिका : कुमार जितेन्द्र का मानना है कि पत्रकारिता का असली मकसद समाज में जागरूकता फैलाना और लोगों को सशक्त बनाना है। वे डिजिटल मीडिया के माध्यम से जनता तक सीधे संवाद स्थापित करते हैं, जिससे उनकी रिपोर्टिंग निष्पक्ष और पारदर्शी बनी रहती है। उनका भारत सम्मान न्यूज पोर्टल और यूट्यूब चैनल लगातार उन मुद्दों को उजागर करता है, जिनसे आम जनता प्रभावित होती है। चाहे वह सरकारी नीतियों की समीक्षा हो, प्रशासनिक अनियमितताएं हों, या फिर समाज में व्याप्त अन्याय, कुमार जितेन्द्र हमेशा निडरता से जनता की आवाज़ बनते हैं।

सम्मान और प्रेरणा का स्रोत : उनकी निर्भीक पत्रकारिता और समाज के प्रति योगदान को देखते हुए उन्हें अनेक पुरस्कारों और सम्मानों से नवाजा गया है। लेकिन उनके लिए सबसे बड़ा सम्मान जनता का विश्वास और समर्थन है। उनका जीवन और संघर्ष आने वाली पीढ़ी के पत्रकारों के लिए एक प्रेरणा है, जो सत्य और न्याय की राह पर चलना चाहते हैं।

समाज के प्रति दायित्व : कुमार जितेन्द्र सिर्फ एक पत्रकार नहीं, बल्कि समाज सुधारक भी हैं। वे मानते हैं कि पत्रकारिता केवल खबर देने तक सीमित नहीं होनी चाहिए, बल्कि उसे बदलाव का माध्यम बनना चाहिए। उनकी हर रिपोर्टिंग समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाने की दिशा में एक कदम होती है।

30 जनवरी का यह विशेष दिन केवल कुमार जितेन्द्र का जन्मदिन नहीं, बल्कि सत्य और निर्भीक पत्रकारिता के जज़्बे को सलाम करने का दिन है। उनका संघर्ष और उनका योगदान यह साबित करता है कि सच्चाई की आवाज को दबाया नहीं जा सकता। हम उनके उज्जवल भविष्य की कामना करते हैं और आशा करते हैं कि वे इसी तरह सच्चाई और न्याय की मशाल जलाते रहेंगे।

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