श्री शिव पुराण कथा महोत्सव : बालोद में पं. राघव मिश्रा की होगी अनुपम प्रस्तुति

फिरोज अहमद खान (पत्रकार)
बालोद। बालोद नगर में आध्यात्मिक वातावरण बन गया है, जहां माहेश्वरी भवन में 23 जुलाई से श्री शिव पुराण महा सप्ताह का भव्य आयोजन होने जा रहा है। धार्मिक भावनाओं से ओतप्रोत यह समारोह 23 से 30 जुलाई तक चलेगा, जिसमें प्रतिदिन दोपहर 1 बजे से शाम 4 बजे तक शिव पुराण कथा का ज्ञानवर्धक वाचन किया जाएगा। इस कार्यक्रम को खास बनाता है प्रसिद्ध कथा वाचक, सीहोर मध्यप्रदेश के आचार्य पं. प्रदीप मिश्रा के सुपुत्र – पंडित राघव मिश्रा का आगमन, जिनके सशक्त वाणी और गूढ़ ज्ञान के लिए श्रद्धालु बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं।
शुभारंभ एवं आयोजन की झलक
पूजन एवं कलश यात्रा के साथ इस सप्ताह भर चलने वाले अनुष्ठान की औपचारिकता होगी — 23 जुलाई बुधवार को शाम 4 बजे गणेश मंदिर प्रांगण से विशाल कलश यात्रा निकलेगी। नगर में धार्मिक उल्लास का वातावरण निर्मित करते हुए, यह यात्रा माहेश्वरी भवन पहुंचेगी। 24 जुलाई से 30 जुलाई तक पं. राघव मिश्रा द्वारा शिव महापुराण कथा सुनाई जाएगी।
नगर पालिका अध्यक्ष प्रतिभा चौधरी ने बताया कि कार्यक्रम का आयोजन श्री शिव शक्ति सेवा समिति बालोद के बैनर तले किया जा रहा है तथा समिति के सदस्य उत्साहपूर्वक तैयारियों में जुट चुके हैं।
पं. राघव मिश्रा : युवा विद्वान और लोक-प्रिय कथावाचक
पंडित राघव मिश्रा, सुविख्यात कथा वाचक आचार्य पं. प्रदीप मिश्रा के सुपुत्र हैं। वे बाल्यकाल से ही धर्म, वेद, पुराण व शास्त्रों के अध्ययन में रुचि रखते हैं। उनके सरल शैली में गूढ़ शास्त्रीय बातें समझाने की क्षमता उन्हें श्रोताओं के बीच अलग पहचान दिलाती है। राघव जी ने कम उम्र में अपने पिता की परंपरा को आगे बढ़ाते हुए देश-विदेश में कई धार्मिक आयोजनों का सफल संचालन किया है। शिव, राम और भागवत पुराण सहित अन्य शास्त्रों का उन्होंने गहन अध्ययन किया है।
उनकी कथाओं में जीवन को सकारात्मक सोच एवं संस्कारों के माध्यम से श्रेष्ठ बनाने का संदेश छुपा होता है। भक्तिमय भजनों, व्यावहारिक उदाहरणों और सरल भाषा में प्रस्तुत प्रवचनों के कारण युवा पीढ़ी भी उनसे खासा प्रभावित रहती है। बालोद की शिव पुराण कथा में उनके प्रवचन भक्तों के लिए एक नया अनुभव लेकर आएंगे।
कार्यक्रम की विशेषताएं
1. प्रत्येक दिन दोपहर 1 से 4 बजे तक सजीव कथा।
2. शिव शक्ति सेवा समिति द्वारा भव्य प्रबंध।
3. सीहोर से बालोद आकर पं. राघव मिश्रा का पहला प्रमुख आयोजन।
4. श्रद्धाभाव, भजन-कीर्तन तथा पारंपरिक धार्मिक वातावरण।
5. समापन दिवस पर विशेष आरती एवं प्रसादी वितरण की योजना।
शिवपुराण कथा सप्ताह न केवल धार्मिक आनंद बल्कि सामाजिक एकता और आध्यात्मिक चेतना का भी अद्भुत अवसर बनने जा रहा है। नगरवासी और श्रद्धालु इस सात दिवसीय कार्यक्रम का लाभ उठाकर स्वयं को अध्यात्म से जोड़ सकते हैं।